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” आतंक वाद ” पर मोदी जी के विचार

Vichar Manthan
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आतंक वाद पर मोदी जी ने संयुक्तराष्ट्र महासभा में कई प्रश्न उठाये ‘ कुछ देशों में देश की सरकारों द्वारा समर्थित आतंकवाद उनकी विदेश नीति का मूल मन्त्र है वह आतंकवाद के पोषण भी हैं | चार दशकों से भारत आतंकवाद की मार झेल रहे हैं| बिना नाम लिए मोदी जी ने बराक ओबामा द्वारा दिए गये आतंकवाद के दो Good terrorism और Bad terrorism क्या होता है ?आतंकवाद तो आतंकवाद ही हैं | ‘हमारे देश में पाकिस्तान द्वारा आधुनिक हथियारों से लैस आतंकवादी लगातार भेजे जाते है |काश्मीर घाटी में बर्फ पड़ने से पहले बार्डर पर तोपें गरजने लगती है इनकी आड़ में आतंकवादियों को देश में बम धमाकों के जरिये बद अमनी फैलाने के लिए भेजा जाता है, और भी कई रास्ते हैं जहाँ से आतंकवादियों को भारतीय सीमाओं में प्रवेश कराया जाता हैं भारत के नौजवानों को धर्म , जेहाद में यदि शहीद हो गये इस शहादत से जन्नत के नाम पर बरगलाया जाता है | उन्हें सीमा पार करा कर पाक अधिक्रत काश्मीर में आतंक वादी गतिविधियों के लिए प्रशिक्षण दिया जाता है जिससे तबाही का खेल खेला जाये | भारतीय मुजाहिदीनो (IM )का पूरा नेटवर्क तैयार किया गया है जिससे आतंकवाद का एक विशाल जाल देश में फैल जाए यह नौजवान यदि विकास के मार्ग पर चलते देश तरक्की करता लेकिन पाकिस्तान अपने मंसूबे पूरे करने के लिए मुस्लिम जवानों को गुमराह करता रहता है कई आतंकवादी घटनाओं में निर्दोष जाने गई जान माल के नुकसान के साथ दहशत का माहोल फैला ,लेकिन तेरह दिसम्बर २००१ को भारतीय संसद पर आतंकवादी हमला भारत के सम्मान पर हमला था| जिसे कभी भुलाया नही जा सकता देश की व्यवस्थापिका पर हमला प्रजातांत्रिक व्यवस्था पर किया गया हमला था| २६/११ को बम्बई में आतंक वाद का नंगा नाच देश क्या पूरे विश्व ने देखा | समुद्र के रास्ते पाकिस्तानी आतंकवादियों ने भारत की भूमि में प्रवेश किया इसमें कई जाने गई एक समुदाय विशेष (यहूदी) को विशेष रूप से निशाना बनाया गया यह पूर्णतया इस्लामिक आतंकवाद का उदाहरण था हमले में जान पर खेल कर पाकिस्तानी आतंकवादी कसाब को पकड़ा गया परन्तु क्या हुआ हाफिज सईद जो इस हमले का मास्टर माईंड था पाकिस्तान में हीरो बन कर आजाद घूम रहा है |
भारत अहिंसा और विश्व बन्धुत्व पर चलने वाला देश है विश्व में शान्ति चाहता हैं परन्तु थोपे गये आतंकवाद का क्या करे | पहले आतंक वाद को विश्व समुदाय उस देश की समस्या माना जाता था | अब यह पूरे विश्व की समस्या बन गया है कोई भी देश इससे अछूता नहीं है तानाशाही में ताकत से आप आतंकवादियों को दबा लेगे पर प्रजातांत्रिक देश क्या करे ?उनके यहाँ पूरी न्यायिक प्रक्रिया है कुछ देशों ने आतंकवाद से निपटने के लिए विशेष कानून बना लिए हैं वहां भी मानवाधिकार वादी दखल देते हैं उन्हें मानवता के इन दुश्मनों की चिंता हैं परन्तु इनके शिकारों की नही |
ISIS का कहर आज ईराक झेल रहा हैं सद्दाम के बाद ईराक का शक्ति संतुलन बिगड़ गया अमेरिका के इस प्रदेश को छोड़ने के बाद शिया और सुन्नी लड़ने लगे खुर्द भी एक शक्ति बन कर उभरे इसी बीच बगदादी, जिसे Camp Bucca में पांच वर्ष पूर्व बंदी बनाया गया था परन्तु फिर उसे छोड़ दिया गया था | इस इस्लामिक लीडर ने अपने आप को खलीफा घोषित कर ईराक और सीरिया में इस्लामिक स्टेट बनाने की घोषणा कर दी | दुनिया के मुस्लिम युवको को जेहाद में भाग लेने के लिए ईराक आने के लिए उत्साहित किया जा रहा हैं उसकी अपील का असर पड़ रहा है जिससे सभी विकसित राष्ट्र परेशान हैं उनके यहाँ के जवान इस जेहाद की अपील पर ISIS में सम्मलित होंने को तैयार हैं और जा रहे हैं |
अमेरिका स्वयं आतंकवाद का सताया हुआ है ९/११ की घटना उसके World Trade Center पर हमला किया गया दुनिया में ताकत का दम भरने वाला अमेरिका अलकायद (जनक ओसामा – बिन लादेन )के आगे लाचार हो गया| अमेरिका ने पाकिस्तान में छिपे ओसामा को मार कर अपने अपमान का बदला ले लिया | क्या हम पाकिस्तान द्वारा पी.ओ.के.में चलाए जाने वाले आतंकवादी संगठनों को जो हमारे लिए आतंक की वर्क शाप है नष्ट कर सकते हैं ?
UN में नवाज शरीफ ने फिर काश्मीर का राग अलापा और जनमत संग्रह की बात की| जब भी पाकिस्तान में संकट आया है आज कल नवाज शरीफ की चुनी सरकार का विरोध हो रहा है वह राजनैतिक संकट में हैं उनकी सत्ता सेना के सहारे सुरक्षित है इसलिये उन्हें काश्मीर राग याद आ गया |मोदी जी ने साफ़ कर दिया आतंक और वार्ता साथ-साथ नही चल सकते |पाकिस्तान के साथ वार्ता दो तरफी होगी | भारत बार्ता करने को तैयार है परन्तु उचित माहोल में| विश्व मंच पर आतंकवाद की समस्या को उठाना और उसे समाप्त करने के लिए देशों का आह्वान करना मोदी जी का सराहनीय कदम है |
मोदी जी ने राष्ट्रपति ओबामा से आतंकवाद पर सीधी बात की अमेरिका के साथ एक समझोता हुआ आई . एस. आई. एस .बगदादी का संगठन सीरिया में इस्लामिक सरकार बनाना चाहता था , अब उसका कार्य क्षेत्र इराक बन गया है वहां बगदादी ने आतंक की सीमाएं पार कर दी है, लश्करे तैयबा , जैशे – महम्मद , तालिबान और डी- कम्पनी की फंडिग पर रोक लगाने का समझौता किया है | इन संगठनो को मुस्लिम जो विदेशों में रहता है जकात के रूप में मदद करता है , पाकिस्तान द्वारा भेजे जाने वाले नकली नोटों की खेप की खेप ,सउदी अरब द्वारा भेजे जाने वाला धन जिसे मदरसों और मस्जिदों के निर्माण के नाम पर भेजा जाता है सउदी अरब का तो यह कहना है उन्हें चैन से जीने दो विश्व में जो चाहे करो और अफगानिस्तान में तथा नार्थ वेस्ट फ्रंटियर में अफीम की खेती की जाती है जिसे कैमिकली बदल कर हशीश और हिरोईन बना कर भारत , योरोप और अमेरिकन देशों को बेचा जाता हैं | आज की जवान पीढ़ी रेव पार्टियों में इनका खुल कर सेवन कर रहें हैंयदि कोइ इनका अपना व्यक्ति सेवन करता है उसको जान से मार देते हैं | डॉ शोभा भारद्वाज

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